जिला सिरमौर के श्रीरेणुकाजी विधानसभा क्षेत्र के तहत आने वाले नौहराधार कस्बे के एक बैंक के तात्कालिक सहायक प्रबंधक ने करोड़ों रुपए का गबन किया है। जिला शाखा प्रबंधक की ओर से पुलिस थाना संगड़ाह में आरोपी के खिलाफ 4 करोड़ 2 लाख रुपए के गबन की शिकायत दर्ज करवाई गई है। यह राशि इससे कहीं ज्यादा हो सकती है। क्योंकि अभी बैंक प्रबंधन सारे दस्तावेजों की जांच कर रहा है।
बैंक प्रबंधन को जैसे ही घोटाले के बारे में जानकारी मिली, तो सहायक प्रबंधक ज्योति प्रकाश को निलंबित कर उसका हेड क्वार्टर शिमला कर दिया गया। सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार बैंक प्रबंधन को 3 अगस्त को घोटाले के बारे में पता चला। फिर एक सप्ताह तक बैंक प्रबंधन ने खुद छानबीन की। उसके बाद 10 अगस्त को संगडाह पुलिस थाना में आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज करवाया गया। सोमवार तथा मंगलवार को हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी बैंक मुख्यालय शिमला की टीम ने बैंक के सारे दस्तावेजो की जांच की। अभी तक 4 करोड़ के गबन का मामला सामने आया हैं। जबकि यह मामला 10 करोड़ से ऊपर तक जा सकता है। उक्त कर्मचारी ने लोगों नाम पर फर्जी तरीके से लिमिट बनवाई। कई लोगों की लिमिट पर फर्जी तरीके से लोन लिया। कुछ लोगों की एफडीआर का पूरा पैसा ही गबन कर दिया। कुछ लोगों की एफडीआर पर लोन ले लिया। कुछ लोगों के केसीसी अकाउंट से भी भारी राशि का गबन किया गया है।
जिला सिरमौर के श्रीरेणुकाजी विधानसभा क्षेत्र के तहत आने वाले नौहराधार कस्बे के एक बैंक के तात्कालिक सहायक प्रबंधक ने करोड़ों रुपए का गबन किया है। जिला शाखा प्रबंधक की ओर से पुलिस थाना संगड़ाह में आरोपी के खिलाफ 4 करोड़ 2 लाख रुपए के गबन की शिकायत दर्ज करवाई गई है। यह राशि इससे कहीं ज्यादा हो सकती है। क्योंकि अभी बैंक प्रबंधन सारे दस्तावेजों की जांच कर रहा है।
बैंक प्रबंधन को जैसे ही घोटाले के बारे में जानकारी मिली, तो सहायक प्रबंधक ज्योति प्रकाश को निलंबित कर उसका हेड क्वार्टर शिमला कर दिया गया। सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार बैंक प्रबंधन को 3 अगस्त को घोटाले के बारे में पता चला। फिर एक सप्ताह तक बैंक प्रबंधन ने खुद छानबीन की। उसके बाद 10 अगस्त को संगडाह पुलिस थाना में आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज करवाया गया। सोमवार तथा मंगलवार को हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी बैंक मुख्यालय शिमला की टीम ने बैंक के सारे दस्तावेजो की जांच की। अभी तक 4 करोड़ के गबन का मामला सामने आया हैं। जबकि यह मामला 10 करोड़ से ऊपर तक जा सकता है। उक्त कर्मचारी ने लोगों नाम पर फर्जी तरीके से लिमिट बनवाई। कई लोगों की लिमिट पर फर्जी तरीके से लोन लिया। कुछ लोगों की एफडीआर का पूरा पैसा ही गबन कर दिया। कुछ लोगों की एफडीआर पर लोन ले लिया। कुछ लोगों के केसीसी अकाउंट से भी भारी राशि का गबन किया गया है।
वही मंगलवार दोपहर को पुलिस थाना संगड़ाह की टीम भी बैंक में मौजूद रही। पुलिस टीम बैंक प्रबंधन से दस्तावेज प्राप्त कर रही है। यह घोटाला कितना बड़ा है, यह तो जांच के बाद ही सामने आएगा। वही राज्य मुख्यालय शिमला से आई टीम पिछले तीन वर्षो के दस्तावेजों को जांच कर रही है। सोमवार शाम को लोगों को बैंक घोटाले की जानकारी लगी, तो मंगलवार सुबह से ही पूरे क्षेत्र के लोग बैंक जमा हो गए तथा अपने-अपने बैंक खातों की जानकारी बैंक प्रबंधन से लोगों ने ली। उधर राज्य सहकारी बैंक के जिला प्रबंधक प्रियदर्शन पांडे ने बताया कि नौहराधार बैंक शाखा में सहायक प्रबंधक रहे व्यक्ति ने लोन, एफडीआर, लिमिट और केसीसी में चार करोड़ से अधिक का गबन किया है। आरोपी के खिलाफ पुलिस थाना में मामला दर्ज करवा दिया गया है। उधर पुलिस थाना संगडाह प्रभारी बृजलाल मेहता ने बताया कि पुलिस टीम मामले की जांच में जुट गई है। बैंक प्रबंधन की और से सारे दस्तावेज मिलते ही आगामी करवाई की जाएगी।