स्वास्थ्य विभाग को जन्म -मृत्यु का रिकार्ड अपडेट रखना चाहिए तभी जनगणना के सही आंकड़ों का एकत्रिकरण संभव हो सकता है । यह उद््गार निदेशक जनगणना पंजाब, हरियाणा एवं हिमाचल प्रदेश श्री अभिषेक जैन ने आज यहां उपायुक्त कार्यालय के सभागार में आयोजित अधिकारियों की बैठक की अध्यक्षता करते हुए दी ।
उन्होने कहा कि स्वास्थ्य संस्थानों द्वारा विशेषकर मृत्यु का प्रणाम पत्र जारी नहीं किए जाते है जिसे अनिवार्य रूप से जारी किया जाना चाहिए और मुख्य चिकित्सा अधिकारी को जन्म -मृत्यु का पूर्ण डाटा एकत्रित करके जनगणना विभाग भारत सरकार को दिया जाए । उन्होने मुख्य चिकित्सा अधिकारी को यह भी निर्देश दिए कि वह जिला में कार्यरत सभी निजी स्वास्थ्य संस्थानों में होने वाले जन्म-मृत्यु का डाटा भी अपने पास उपलब्ध रखे चूंकि निजी स्वास्थ्य संस्थानों द्वारा मांग पर ही जन्म-मृत्यु के प्रमाण पत्र बहुत कम जारी किए जाते है जबकि इन संस्थानों को जन्म -मृत्यु का प्रमाण पत्र स्वयं दिया जाना चाहिए ।
निदेशक ने कहा कि स्वास्थ्य संस्थानों से अपडेट डाटा न मिलने के कारण जनगणना के सही आंकड़ों प्रदर्शित नहंी हो पाते है । उन्होने बताया कि गत जून, 2018 को उनके विभाग द्वारा नगर परिषद पांवटा और ग्राम पंचायत भाटांवाला का औचक निरीक्षण करने पर पाया गया कि नगर परिषद एवं पंचायत द्वारा जन्म-मृत्यु के प्रमाण पत्र वास्तविकता से कम जारी किए गए हैं जिससे ज्ञात हुआ कि विशेषकर ग्राम पंचायतों में ऐसे प्रमाण पत्र बहुत कम जारी किए जा रहे हैं ।
अभिषेक जैन ने कहा कि जनगणना के आधार पर ही विकास की नई योजनाऐं एवं नितियां भारत सरकार द्वारा तैयार की जाती है और यदि जनगणना सही न की गई हो तो इस प्रतिबिंब नई योजनाओं के तैयार करने पर पड़ता है । उन्होने कहा कि यदि सरकार द्वारा कोई नई तहसील अथवा उप तहसील खोली जाती है और इसके अतिरिक्त कोई नया गांव एवं उप गांव बनाया जाता है तो उस स्थिति मेे जनगणना विभाग को नक्शा सहित उपलब्ध करवाया जाए । उन्होने कहा कि इस बारे सभी उपायुक्तों एवं अन्य संबधित अधिकारियों को भी पत्र लिखकर निर्देश जारी किए गए कि निर्धारित नक्शा पर अपने नए क्षेत्र अथवा नई तहसील का डाटा प्रस्तुत किया जाए।
इससे उपायुक्त सिरमौर ने निदेशक जनगणना का स्वागत करते हुए कहा कि सिरमौर जिला के सभी सरकारी एवं निजी स्वास्थ्य संस्थानों को निर्देश जारी कर दिए जाएगें कि वह अपने अपने संस्थान में जन्म-मृत्यु का डाटा अपडेट रखे जिसकी सूचना हर माह उपायुक्त कार्यालय को भी भेजनी होगी ताकि छः मास का जन्म-मृत्यु का सही डाटा एकत्रित करके जनगणना विभाग को प्रंेषित किया जा सके ।बैठक में जिला में कार्यरत सभी राजस्व अधिकारियों ने भाग लिया ।