( जसवीर सिंह हंस ) गत दिनों गत दिनों बेटी जैसी उम्र की बच्ची के साथ अश्लील हरकतें कर सुर्खियों में आया परमिंदर सिंह ढिल्लों पुत्र स्वर्गीय धर्म सिंह निवासी भाटा वाली कानून का डंडा चलने के बाद फरार हो गया है मिली जानकारी के अनुसार पुलिस आरोपी की तलाश में छापेमारी कर रही गोरतलब है की गत दिवस बद्रीनगर निवासी एक महिला ने पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज करवाई है कि परमिन्दर सिहं पुत्र स्वर्गीय धर्म सिहं निवासी भाटा वाली इसके साथ अश्लील बाते करने लगा और उसकी बच्ची बेटी के साथ बातचीत करने लगा तथा इसकी बेटी को कहा कि इसके साथ दोस्ती कर ले इसकी बेटी की बाजु पकडी और अपनी तरफ खीच कर बोला जब कल तुम्हारे मम्मी पापा घर पर नही होगे तो कल आऊंगा | शिकायत मिलने पर पुलिस ने मामला दर्ज कर कारेवाही शुरू कर दी है | वहीं आरोपी शातिर किस्म का अपराधी है वह परिवार पर किसी तरह केस वापस लेने का दबाव भी बना सकता है इसी कारण पुलिस जल्द से जल्द आरोपी को सलाखों के पीछे पहुंचाने के लिए कार्यवाही कर रही है
बताया जा रहा है कि पुलिस उसकी तलाश में जुटी हुई है पुलिस कुछ कानूनी दाव पेंच में फंसी हुई है परंतु कानून के हाथ लंबे हैं तथा पुलिस आरोपी को जल्द सलाखों के पीछे पहुंचाने की बात कर रही है वहीं पुलिस को शक है कि शातिर अपराधी परमिंदर सिंह ढिल्लों जिसके ऊपर पहले भी दर्जन भर मुकदमे दर्ज हैं कहीं हाईकोर्ट तक अपनी अंतरिम जमानत करवाने के लिए ना पहुंच जाए परंतु पुलिस को पुलिस भरोसा है कि हाईकोर्ट भी शातिर अपराधी को इतनी जल्दी जमानत नहीं देगा क्योंकि यदि कानूनी दांवपेच में पोस्को एक्ट स्टैंड हो जाती है तो अपराधी का महीनों जेल के सलाखों के भीतर रहता है व पोस्को एक्ट में कोर्ट भी इतनी जल्दी जमानत नहीं देता व शातिर अपराधी का पिछला आपराधिक रिकॉर्ड भी ख़राब है |
परंतु आरोपी किसी तरह अपने गुंडों की गैंग के पास पहुच कर किसी तरह इस मामले को निपटाने के लिए हाथ पैर जोड़ता फिर रहे वही गुंडों की गैंग के सरगना ने इस केस में अपना हाथ जलता देख अपने हाथ पीछे खींच लिए हैं आपको बता दें कि यूथ ब्रिगेड का पूर्व अध्यक्ष परमिंदर सिंह ढिल्लों पहले भी सोनू रिक्शा कांड व पत्रकार के साथ मारपीट अपहरण व के मामले में कुकर्म में जेल की हवा खा चुका है जबकि उसके साथी हाई कोर्ट से जमानत पर रिहा हुए थे वहीं कुछ उसके पंजाब से भगोड़े साथी अभी साजिशों में शामिल हो रहे हैं |
सोनू रिक्शा कांड के समय मुद्दा उठा था की ऐसे अपराधिक छवि के आदमी को पिस्टल की क्या जरूरत थी और प्रशासन ने पिस्टल क्यों दी सूत्रों के मुताबिक क्या परमिंदर सिंह का पंजाब से पुलिस वेरिफिकेशन नहीं करवाया गया जबकि वो पांवटा साहिब का नहीं पंजाब का रहने वाला है ना हि उसकी पंजाब में अपराधिक रिकॉर्ड निकला गया था | क्या पुलिस प्रशासन में परमिंदर सिंह की इतनी पकड़ थी कि वो चुनाव आचार संहिता में भी शरेआम पिस्टल लेकर घूमता रहा व जानकारी होने के बावजूद पुलिस व प्रशासन मौन बैठे रहे जबकि परमिंदर सिंह धमकी देकर किसी की कनपटी पर पिस्टल रखता रहा |
यदि पुलिस व प्रशासन ने उस समय सही कदम उठाया होता तो अगले दिन सोनू के साथ इतना बड़ा कांड न होता | गोरतलब है की सोनू को पिस्टल की नोक पर हि डराया गया था | पत्रकार के घर पर हमला व पत्रकार के साथ कुकर्म व मारपीट व एक अन्य पीड़ित के साथ मारपीट के बाद भी स्थानीय स्तर पर पुलिस प्रशासन दवारा कोई कारवाही न होने के बाद इन आरोपियों के होसले बुलंद होते चले गये थे कि अन्य लोगो के साथ भी ऐसा करने लग गये थे वही अभी इनके शिकार कुछ लोग और लोग भी हो सकते थे | कुछ लोगो की हिम्मत से ही सोनू का मामला सामने सका वर्ना अन्य मामलो की तरह ये मामला थी दब जाता |यदि आरोपियों को सजा नहीं मिलती तो जनता का पुलिस से विशवास उठ जायेगा व अपराधियों को दोबारा अपराध करने का भी मोका मिलेगा |सोनू रिक्शा चालक व पत्रकार का अपहरण मारपीट व कुकर्म के मुख्य आरोपी परमिंदर सिंह ढिल्लो लम्बे समय तक जेल में रहकर आया था व इस समय मामला कोर्ट में विचारधीन है |