नाहन : केंद्र व प्रदेश सरकार की योजनाओं को और समर्पण से करें लागू बोले राज्यपाल

राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल की अध्यक्षता में आज सिरमौर जिले के नाहन में जिला प्रशासन के अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक का आयोजन किया गया, जिसमें केंद्र और प्रदेश सरकार की विभिन्न योजनाओं के अन्तर्गत जिले में कार्यान्वित किए जा रहे कार्यों की समीक्षा की गई।

इस अवसर पर, राज्यपाल ने कहा कि सरकारें अपने स्तर पर अनेक योजनाएं बनाती है, जो जन कल्याण को केंद्रित करके बनायी जाती है। इन योजनाओं को क्षेत्रीय स्तर पर अधिकारियों के माध्यम से ही कार्यान्वित किया जाता है। उन्होंने कहा कि अगर सही तरीके से इन्हें कार्यान्वित किया जाए और समय-समय पर इनकी समीक्षा होती रहे तो निश्चित तौर पर इनका लाभ आम लोगों को मिलता है। उन्होंने कहा कि यदि अधिकारी इन योजनाओें के प्रति अपनी दक्षता न दिखाए तो इनके कार्यान्वयन पर संदेह बना रहता है। इसलिए विभिन्न विभागों के अधिकारी व कर्मचारी सभी योजनाओं को समर्पण भाव से लागू करें तभी सार्थक परिणाम सामने आ सकते हैं। काम पूरा होने का श्रेय भी अधिकारियों को जाता है।

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शुक्ल ने कहा कि श्री रेणुका परियोजना के बनने से करीब पांच राज्यों को इसका सीधा लाभ मिलेगा। उन्होंने कहा कि इस परियोजना पर 7000 करोड़ रुपये की लागत आएगी लेकिन समय के कारण इसकी लागत और बढ़ सकती है। इसलिए, कार्य को समयावधि पर पूरा करना अधिकारियों की ही जिम्मेदारी है। उन्होंने कृषि, बागवानी, पेयजल, विद्युत इत्यादि विभिन्न कार्यों की जानकारी ली और उचित दिशा-निर्देश दिए। उन्होंने विभिन्न योजनाओं में गुणवत्ता का विशेष ध्यान रखने और योजनाओं से संबंधित धनराशि का समुचित उपयोग सुनिश्चित बनाने के भी निर्देश दिए।

इससे पूर्व, सिरमौर के उपायुक्त सुमित खिमटा ने राज्यपाल का स्वागत किया तथा जिला स्तर पर कार्यान्वित की जा रही विभिन्न योजनाओं की विस्तृत जानकारी दी। अतिरिक्त उपायुक्त श्री मनेश कुमार ने बैठक की कार्यवाही का संचालन किया।

नाहन के विधायक अजय सोलंकी ने भी इस अवसर पर अपने विचार व्यक्त किए।बाद में, चौम्बर ऑफ कामर्स, कालाअंब और पौंटा के प्रतिनिधियों के साथ बैठक करते हुए राज्यपाल ने कहा कि औद्योगिक विकास के लिए प्रदेश सरकार और केंद्र सरकार उद्यमियों को अपने उद्योग स्थापित करने के लिए अनेक प्रकार की सुविधाएं प्रदान करती हैं। उसी पैकेज के आधार पर वे अपने उद्योग लगाते हैं लेकिन, यह पैकेज इसलिए भी दिया जाता है ताकि जहां उद्योग स्थापित होने हैं वहां के स्थानीय लोगों को भी इसका लाभ मिल सके। उन्होंने कहा कि औद्योगिक विकास का लाभ क्षेत्र को होना चाहिए। उन्होंने लीड बैंकों से भी आग्रह किया कि वे इस दिशा में अपना सहयोग प्रदान करें और जो मुश्किलें उद्योग से जुड़े लोगों को आती हैं उन्हें प्रशासन के समक्ष लाया जाए ताकि इस दिशा में केंद्र व प्रदेश सरकारों से भी बात की जा सके।

इससे पूर्व, उद्योग विभाग के संयुक्त निदेशक श्री ज्ञान चौहान ने जिले में औद्योगिक गतिविधियों पर विस्तृत जानकारी दी।

सी.आई.आई के पूर्व अध्यक्ष कर्नल शैलाश पाठक, हिमाचल चौम्बर के प्रधान सतीश गोयल, लघु उद्योग भारती के अध्यक्ष संजय सिंघला ने अपने महत्वपूर्ण सुझाव दिए।

 

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