पावटा साहिब : अस्पताल में नर्स की टिक टॉक वीडियो वायरल मामले में क्या रची गयी साजिश , जाँच को पहुचे सी एम ओ

सिविल हॉस्पिटल में नर्स के डांस करते वायरल वीडियो में साजिश की बू आ रही है क्योंकि अगर अधिकारियों की मानें तो यह वीडियो करीब 2 महीने पुराना है 31 दिसंबर की रात को बनाया गया था वह गया वीडियो नर्सों के अपने ड्यूटी रूम में बनाया गया था वह इस वीडियो को गलत तरीके से पेश किया जा रहा है तथा अन्य मुद्दों से जोड़कर इस को राजनीतिक रंग दिया जा रहा है

उन्होंने कहा कि यह अफवाह है कि ड्यूटी रूम में डांस चलता रहा वह डॉक्टर अंदर डांस करता रहा कि पेशेंट दरवाजा खटकाते रहे उन्होंने कहा कि कुछ पुराने मुद्दों को जोड़कर यह पेश किया जा रहा है |गौरतलब है कि इससे पहले भी करोना वायरस को लेकर शहर में एक अफवाह उड़ गई थी जिसको बाद में स्वास्थ्य विभाग द्वारा गलत बताया गया था| वहीं सूत्रों की मानें तो अस्पताल के ही किसी व्यक्ति द्वारा यह सारी साजिश रची गई है तथा हस्पताल को बदनाम करने की कोशिश की गई है वहीं दबी जुबान में अस्पताल के लोग उस व्यक्ति  को गद्दार बता रहे  हैं | वहीं अस्पताल के स्टाफ के सामने भी अस्पताल के ही उस व्यक्ति की तस्वीर सामने आ गई है जिसने अपने ही हस्पताल को बदनाम करने की साजिश रची थी

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इस बात को भी नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है कि स्टाफ नर्सिस पर ड्यूटी को लेकर मानसिक दबाव रहता है। बहरहाल महज डांस वीडियो से इस बात को मान लेना कि स्टाफ नर्स ड्यूटी पर कोताही बरत रही थी, कतई भी न्यायसंगत नहीं माना जा सकता। इतना जरूर है कि यूनिफॉर्म में इस तरह का वीडियो सही भी नहीं हो सकता। इसमें कोई दो राय नहीं है कि सूबे के स्वास्थ्य संस्थान स्टाफ नर्सिस की कमी से जूझ रहे हैं। विभाग में जूनियर स्टाफ नर्सिस अपनी एक अहम भूमिका को निभा रही है।

कुछ लोगों की राय जानने का प्रयास किया तो यह बात सामने आई कि केवल डांस के वीडियो को देखकर यह नहीं माना जा सकता कि वह ड्यूटी पर कोताही बरत रही थी।अलबत्ता जांच ही असल बात को सामने ला सकती है। इतना जरूर है कि जो स्टाफ नर्सिस प्रमोट होकर ओहदों के हिसाब से ऊपर पहुंच चुकी हैं, उनकी तुलना में जूनियर स्टाफ नर्सिस ही पहली नजर में रोगियों के लिए भगवान से कम नहीं होती। यह अलग बात है कि प्रमोट हो चुकी स्टाफ नर्सिस की ड्यूटी रोगियों की जांच की नहीं होती, बावजूद इसके कई अपनी पोस्ट की परवाह किये बगैर दायित्व निभाती है।


उधर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर के के पराशर का कहना था कि एसएमओ को जांच के आदेश दिए गए हैं। इस बारे मंगलवार तक रिपोर्ट मांगी गई है। उन्होंने इस बात को भी माना कि प्रारंभिक जांच में ड्यूटी पर कोताही की कोई बात सामने नहीं आई है। उन्होंने कहा कि रिपोर्ट आने के बाद कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। चूंकि इस वायरल वीडियो पर अलग-अलग राय है, लिहाजा इसे शेयर नहीं किया जा रहा है।

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