CM सुक्खू ने घुमारवीं काे दी करोड़ाें की साैगात, मनरेगा योजना काे लेकर घेरी केंद्र सरकार

Khabron wala 

हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने बिलासपुर जिले के अपने एकदिवसीय दौरे के दौरान घुमारवीं विधानसभा क्षेत्र में विकास की गति को तेज करते हुए करीब 79 करोड़ रुपए की विभिन्न विकासात्मक परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया। मुख्यमंत्री ने इस दौरान अखिल भारतीय पैंशनर दिवस के तहत आयोजित समारोह में बतौर मुख्य अतिथि शिरकत की और जनसभा को संबोधित किया।

खेल परिसर की रखी आधारशिला, पुलिस थाने का उद्घाटन

मुख्यमंत्री दिल्ली से चंडीगढ़ होते हुए हैलीकॉप्टर से एम्स बिलासपुर पहुंचे और वहां से सड़क मार्ग द्वारा घुमारवीं आए। उन्होंने अपने दौरे का आगाज युवाओं को बड़ी सौगात देते हुए किया। सीएम ने 15 करोड़ रुपए की लागत से बनने वाले बहुउद्देश्यीय खेल परिसर की आधारशिला रखी। इसके अलावा कानून व्यवस्था को सुदृढ़ करने के लिए उन्होंने 4.82 करोड़ रुपए से निर्मित पुलिस थाना घुमारवीं का उद्घाटन किया और पुलिस कर्मियों के लिए 6 करोड़ रुपए की लागत से बनने वाले आवासीय क्वार्टरों की नींव भी रखी।

सड़कों और पुलों से सुधरेगी कनैक्टिविटी

क्षेत्र में सड़क नैटवर्क को मजबूत करने के लिए मुख्यमंत्री ने कई अहम परियोजनाओं का शिलान्यास किया। उन्होंने 6.13 करोड़ रुपए की लागत से अपग्रेड होने वाली 7 किलोमीटर लंबी अमरपुर-हड़सर-डाहड-जमन-घुमारवीं सड़क की आधारशिला रखी। वहीं, सीर खड्ड पुल पर 34.95 करोड़ रुपए की लागत से 31 किलोमीटर लंबी घुमारवीं-बरठीं-शाहतलाई सड़क के अपग्रेडेशन कार्य का शुभारंभ किया। इसके साथ ही 3.67 करोड़ रुपए से बने वर्षा जल संग्रहण (चैक डैम) का उद्घाटन और सीर खड्ड पर 6.80 करोड़ रुपए की लागत से बनने वाले 68 मीटर लंबे जीप योग्य पुल की आधारशिला भी रखी।

युवाओं को खेलों से जोड़ने का संकल्प

पैंशनर दिवस कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री सुक्खू ने कहा कि घुमारवीं में बनने वाला बहुउद्देश्यीय खेल परिसर युवाओं को खेलों के प्रति प्रोत्साहित करने में अहम भूमिका निभाएगा। उन्होंने घोषणा की कि इस परिसर में बास्केटबॉल, हैंडबॉल, वॉलीबॉल और कुश्ती जैसी आधुनिक सुविधाएं उपलब्ध होंगी। सीएम ने आश्वासन दिया कि अगले 2 वर्षों में इस परिसर का निर्माण पूरा कर लिया जाएगा और इसके लिए धन की कोई कमी नहीं आने दी जाएगी।

संबोधन के दौरान मुख्यमंत्री ने मनरेगा योजना के नाम परिवर्तन और इसके स्वरूप को लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी के नाम से जुड़ी ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना को कमजोर करने की मंशा सही नहीं है। उन्होंने चिंता जताई कि यदि मनरेगा योजना बंद होती है या इसे कमजोर किया जाता है, तो इसका सबसे अधिक नुक्सान हिमाचल प्रदेश के लोगों को होगा। इस अवसर पर मुख्यमंत्री के साथ प्रदेश के तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी, खेल मंत्री यादविंदर गोमा सहित जिले के पूर्व विधायक और अन्य गण्यमान्य व्यक्ति भी मौजूद रहे।

Related Posts

Next Post

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!