राज्यपाल आचार्य देवव्रत ने आज गयेटी थियेटर में लिखावट पर आधारित कार्यक्रम के दौरान कहा कि स्कूल स्तर पर किसी भी विद्यार्थी की प्रथम पहचान उसकी लिखावट से प्रदर्शित होती है। उन्होंने कहा कि पूर्व में स्कूलों द्वारा विद्यार्थियों की लिखावट पर बहुत अधिक ध्यान दिया जाता था, परन्तु वर्तमान समय में लिखावट पर कम ध्यान दिया जा रहा है जिसे बढ़ावा देने की आवश्यकता है।
उन्होंने स्कूल स्तर पर लिखावट कौशल आधारित कार्यक्रम आयोजित करने पर बल देते हुए कहा कि शिक्षा विभाग को इस दिशा में प्रतियोगिताएं आयोजित करने के लिए पहल करनी चाहिए, जो विद्यार्थियों में सृजनात्मकता विकसित करने के सहायक सिद्ध होगी। उन्होंने शिक्षक समुदाय से सुन्दर लिखावट से सम्बन्धित प्रशिक्षण कक्षाएं आरम्भ करने का भी आग्रह किया।
इससे पूर्व राज्यपाल ने जिला शिमला की उच्च पाठशाला मान्दरी के अध्यापक विरेन्द्र कुमार द्वारा लगाई गई लिखावट प्रदर्शनी का शुभारम्भ किया। उन्होंने विरेन्द्र कुमार के कार्य व इस प्रकार के कार्यक्रम आयोजित करने के प्रयासों की सराहना की।