नशे के दुष्प्रभावों को स्कूली पाठ्यक्रम में शामिल करने पर सरकार कर रही विचार : मुख्यमंत्री

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मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने आज सोलन जिला के प्रसिद्ध ठोडो मैदान में नशा निवारण रैली को सम्बोधित करते हुए कहा कि प्रदेश सरकार नशे के दुष्प्रभावों के बारे युवाओं को सचेत करने के लिए इसे स्कूली पाठ्यक्रम में शामिल करेगी, ताकि युवा पीढ़ी को इस बुराई से बचाया जा सके।

उन्होंने कहा कि सभी युवाओं को मादक पदार्थों के प्रयोग से दूर रहने के लिए प्रेरित किया जाएगा, तभी सही अर्थों में प्रदेश देश भर में देवभूमि कहलाएगा। उन्होंने कहा कि आज का दिन ऐतिहासिक है तथा देश पुलिस शहिदी दिवस मना रहा है। उन्होंने कहा कि 75 वर्ष पूर्व इसी दिन नेता जी सुभाष चन्द्र बोस ने राष्ट्र को विदेशी प्रभुत्व से मुक्त करवाने के लिए अजाद हिन्द सेना का गठन किया था।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बहादुर पुलिस सैन्य बल की याद में आज नई दिल्ली में राष्ट्रीय पुलिस स्मारक व संग्रहालय अर्पित किया है। उन्होंने कहा कि नशे की आदत विशेषकर युवाओं में चिन्ताजनक है। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश भी इससे अछूता नहीं है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने इस सामाजिक बुराई पर अंकुश लगाने के लिए पड़ोसी राज्यों से नशे की तस्करी पर नज़र रखने के निर्देश दिए हैं।
जय राम ठाकुर ने कहा कि उनकी पहल पर हाल ही में उत्तरी राज्यों के मुख्यमंत्रियों की एक बैठक चण्डीगढ़ में आयोजित की गई जिसमें इस बुराई पर अंकुश लगाने के लिए रणनीति तैयार की गई। उन्होंने कहा कि बैठक में निर्णय लिया गया कि सभी चारों राज्य इस बुराई को समाज से दूर करने के लिए संयुक्त अभियान आरम्भ करेंगे। उन्होंने कहा कि ड्रग्स तस्करों को पकड़ने के लिए सीमावर्ती क्षेत्रों में संयुक्त अभियान आरम्भ करने के भी प्रयास किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने मादक पदार्थों की तस्करी से जुड़े लोगों को दण्डित करने के लिए कठोर कानून बनाए हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस बुराई को रोकने के लिए अध्यापकों तथा अभिभावकों की भी अहम भूमिका है। उन्होंने कहा कि अभिभावकों को उनके बच्चों के व्यवहार में आए बदलाव पर भी नजर रखनी होगी। उन्होंने कहा कि कई बार अभिभावक अपने बच्चों में नशे के लक्षणों की अनदेखी करते हैं, जो बाद में गम्भीर रूप धारण कर लेता है। उन्होंने कहा कि सिन्थेटिक मादक द्रव्यों का उपयोग और भी खतरनाक है तथा इसके लिए सचेत होने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि नशे की इस बुराई के विरूद्ध जन अभियान चलाने की आवश्यकता है तभी हमारे देश का भविष्य सुरक्षित रह सकेगा।
जय राम ठाकुर ने युवाओं से नशे के सेवन से दूर रहने का आग्रह किया तथा ऐसे विद्यार्थियों को जो नशे के आदी हैं, उन्हें भी इस बारे जागरूक करने को कहा। क्योंकि यदि उन्होंने इस गन्दी आदत को नहीं छोड़ा तो जीवन उन्हें छोड़ देगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार इस सामाजिक बुराई पर नजर रखने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है। उन्होंने कहा कि मादक पदार्थों की तस्करी में संलिप्तता को गैर जमानती अपराध की श्रेणी में लाने के प्रयास किए जाएंगे। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर विद्यार्थियों को नशे से दूर रहने की शपथ दिलाई।
इसके उपरान्त, मुख्यमंत्री ने महार्षि बाल्मिकी प्रकाशोत्सव के अवसर पर सोलन के बाल्मिकी मन्दिर का दौरा कर पूजा अर्चना की। उन्होंने कहा कि मानव कल्याण में महार्षि बाल्मिकी का महत्वपूर्ण योगदान रहा है। उन्होंने कहा कि बाल्मिकी न केवल रामायण के रचयिता थे, बल्कि वे एक महान संत भी थे।
विभिन्न शिक्षण संस्थानों के सैंकड़ों विद्यार्थियों, युवाओं व आम लोगों ने नशा निवारण रैली में भाग लिया।विधानसभा अध्यक्ष डा. राजीव बिन्दल ने इस अवसर पर कहा कि ऐतिहासिक ठोडो मैदान में आयोजित नशा निवारण रैली प्रदेश सरकार की समाज को नशामुक्त बनाने की वचनबद्धता को प्रदर्शित करती है। उन्होंने कहा कि यह प्रत्येक का दायित्व बनता है कि समाज से इस बुराई को जड़ से उखाड़ने के लिए सरकार के प्रयासों में सहयोग दें।सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री डा. राजीव सैजल ने कहा कि मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर प्रदेश को देश का नशामुक्त राज्य बनाने के लिए प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि इसके लिए सामूहिक प्रयासों की आवश्यकता है।
सांसद वीरेन्द्र कश्यप ने कहा कि मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर इस बुराई को प्रदेश से दूर करने के लिए वचनबद्ध है और इस उद्देश्य से सरकार ने अनेक कदम उठाए हैं। उन्होंने कहा कि सरकार इन प्रयासों से प्रदेश सही अर्थों में देवभूमि बनेगा। उन्होंने कहा कि यह हमारा सामाजिक दायित्व बनता है कि हम सभी मिलकर इस बुराई को दूर करने के संयुक्त प्रयास करें।
क्षेत्र के प्रख्यात डॉ. वीरेन्द्र मोहन ने कहा कि विशेषकर 12 से 18 वर्ष की आयु वर्ग के बच्चे नशे की चपेट में सर्वाधिक आते हैं। उन्होंने कहा कि जो सहपाठी व मित्र के दबाव व कई अन्य कारणों से हो सकता है। उन्होंने कहा कि ऐसे में अध्यापकों तथा अभिभावकों को अपने बच्चों के व्यावहार पर कड़ी नजर रखनी चाहिए। बच्चों के व्यवहार में आए किसी भी असमान्य बदलाव को गम्भीरता से लेना चाहिए।
उपायुक्त सोलन विनोद कुमार ने धन्यवाद प्रस्ताव प्रस्तुत किया। पुलिस अधीक्षक मधुसूदन ने मुख्यमंत्री तथा अन्य गणमान्य व्यक्तियों का स्वागत किया। उन्होंने इस बुराई से के दुष्प्रभावों जानकारी दी। उन्होंने एशियाई क्षेत्र में मादक द्रव्यों की तस्करी के इतिहास पर भी प्रकाश डाला।इससे पूर्व, मुख्यमंत्री ने सोलन स्थित माल रोड़ में पुराने उपायुक्त कार्यालय में महिला पुलिस थाने का भी लोकार्पण किया। दून के विधायक परमजीत पम्मी, सोलन के विधायक कर्नल डॉ. धनी राम शांडिल, राज्य महिला आयोग की अध्यक्षा डॉ. डेजी ठाकुर, खादी बोर्ड के उपाध्यक्ष पुरषोतम गुलेरिया, पूर्व विधायक विनोद चन्देल, भाजपा नेता एच.एन. कश्यप तथा डॉ. राजेश कश्यप, आईजी पुलिस पुनिता भारद्धाज भी इस अवसर पर उपस्थित थीं।

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