मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने आज मुम्बई में टाटा ट्रस्ट के अध्यक्ष श्री रतन टाटा से मुलाकात की तथा उनसे प्रदेश में निवेश की संभावनाओं पर विस्तार से चर्चा की। मुख्यमंत्री ने श्री टाटा से प्रदेश में विशेषकर पर्यटन, आई.टी, इलैक्ट्रीक वाहन के निर्माण जैसे क्षेत्रों में निवेश की संभावनाओं पर विचार करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि क्योंकि देशभर में डीजल व पेट्रोल वाहनों के प्रयोग को कम करके इलैक्ट्रीक वाहनों को प्राथमिकता प्रदान की जा रही है जिसके कारण ऐसे वाहनों के निर्माण की व्यापक संभावनाएं विद्यमान है।
मुख्यमंत्री ने टाटा ग्रुप से हिमाचल प्रदेश में बद्दी, परवाणू तथा नालागढ़ जैसे औद्योगिकी स्थल जोकि रेलवे सुविधा से जुड़े हुए है, ऐसे स्थलों में इलैक्ट्रीक वाहनों के निर्माण में निवेश के लिए आमंत्रित किया।
उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश सरकार राज्य में निवेश के इच्छुक उद्यमियों के लिए अनेक सुविधाएं प्रदान कर रही है। इनमें भूमि बैंक, निर्वाध विद्युत आपूर्ति तथा जिम्मेवार प्रशासन जैसी ऐसी विशेषताएं है जो अन्य राज्यों से इस प्रदेश को विशेष बनाती है।
श्री टाटा ने मुख्यमंत्री को आश्वासन दिया कि नवम्बर माह में होने वाली इंवेस्टर मीट से पहले टाटा ग्रुप के चेयरमेन की अध्यक्षता में हिमाचल सरकार के साथ एक संयुक्त टास्टफोर्स गठित की जाएगी ताकि प्रदेश में निवेश की संभावनाओं पता लगाया जा सके। उन्होंने यह भरोसा दिया कि टाटा सन्ज निश्चित तौर पर हिमाचल प्रदेश में कुछ चुनिंदा क्षेत्रों में निवेश के लिए आगे आएगा।
उद्योग मंत्री ब्रिकम सिंह, अतिरिक्त मुख्य सचिव डॉ. श्रीकांत बाल्दी, राम सुभग सिंह, मनोज कुमार, प्रधान सचिव प्रबोध सक्सेना, निदेशक उद्योग हंस राज शर्मा, विशेष सचिव आबिद हुसैन सादिक और मुख्यमंत्री के प्रधान निजी सचिव विनय सिंह भी इस अवसर पर उपस्थित थे।